प्रशासन की कार्यवाही के बाद शहर के गौ सेवको ने दिया प्रभारी मंत्री को ज्ञापन, गरीब पशु पालक कैसे चलाएगा घर? , भाजपा की सरकार में गाय पालने वालो पर हो रही कार्यवाही! , कुछ लोगो की गलती और सब पर चला हथौड़ा, अपनी नाकामी को छुपा रही ये कार्यवाही?
रतलाम/इंडियामिक्स : शहर में कुछ दिनों से लगातार पशुपालकों के अवैध निर्माण तोड़े जा रहे हैं। ऐसे में अब उनके बीच पशुओ को पालने के लिए संकट खड़ा हो गया है। निगम की इस कार्यवाही में वे लोग भी जबरन घसीटे जा रहे हैं जिनके पास गाय मात्र सेवा के उद्देश्य से है। जो गाय को धार्मिक कारण से घर मे रखे है। ऐसे में आज दो से चार गाय रखने वालों को भी नोटिस मिल जाने से गौ सेवक आक्रोशित हो उठे। गौ सेवको ने आज प्रभारी मंत्री ओ.पी. एस. भदौरिया से मिल कर शहर के जे.एम.डी. पैलेस में ज्ञापन दिया। गौ सेवको ने निगम कर्मियों पर भी आरोप लगाए के वे सही कार्यवाही नहीं करते वरना जो लोग गाय छोड़ते हैं वो नहीं छोड़े। इस पर प्रभारी मंत्री ने आश्वस्त किया है। शहर विधायक चैतन्य कश्यप को भी गौ सेवको ने इस बात से अवगत करवाया।
ज्ञापन में लिखा गया की कुछ कतिपय व्यवसाय करने की प्रवत्ति वाले लोगो द्वारा सड़को पर गाय छोड़ दी जाती है। जिन पर साँठ गांठ के चलते निगम कोई कार्यवाही नहीं करती है। उन लोगो की अति जब बढ़ जाती है तो निगम के अधिकारी हम बेकसूर लोगो को पहले नोटिस देकर हमारे एक व दो गाय के तबेले तोड़ने आ जाती है। अगर गाय पालना पाप है तो क्यो सरकार गाय के लिए कानून बना रही है। हमारा गाय से कोई विशेष व्यवसाय नहीं है। केवल सेवा के लिए गाय रहती है और कोई आवारा बीमार गाय को वहाँ इलाज के लिए आश्रित कर लेते है।
शहर में कुत्ते बिल्ली पालने के लिए कोई नियम नहीं है तो गाय के लिए कौन से नियम है ?
अगर गाय पालने के लिए किसी परमिशन की आवश्यकता लेनी होती है तो निगम अधिकारी हमे बताए हम वो भी लेने को तैयार है। यह कार्यवाही उन लोगो पर की जाए जो अपनी गाय को रात्रि में छोड़ देते है। उन पर नहीं जिनके पास सँख्या में दो या तीन गाय हो। ज्ञापन देते समय धर्मेंद्र शर्मा, प्रद्युम्न शर्मा, राधेश्याम, शिवांगी, रोहित आदि गौ सेवक मौजूद थे। ज्ञापन की सूचना मिक्ति ही वहॉं मौजूद भाजपा नेता हार्दिक मेहता व जुबिन जैन ने भी मामले को समझा व शहर एसडीएम अभिषेक गहलोत व निगम आयुक्त सोमनाथ झारिया से चर्चा की। जिस पर अधिकारियों ने इस मामले पर संज्ञान लेकर गलत कार्यवाही ना हो इस पर आश्वस्त किया।